पूर्ण संख्या क्या है?
पूर्ण संख्या, जिसे अंग्रेजी में “integer” कहते हैं, गणित में एक महत्वपूर्ण अवधारणा है। यह एक प्रकार की संख्या है जिसमें भिन्न, ऋणात्मक संख्याएँ या दशमलव शामिल नहीं होते हैं। इसमें शून्य और सभी सकारात्मक पूर्णांकों सहित पूर्ण या “संपूर्ण” संख्याएँ शामिल हैं।
पूर्ण संख्याओं के प्रकार:
- धनात्मक पूर्णांक: 1, 2, 3, 4, 5, …
- ऋणात्मक पूर्णांक: -1, -2, -3, -4, -5, …
- शून्य: 0
पूर्ण संख्याओं के गुण:
- पूर्ण संख्याओं को जोड़ने और घटाने पर हमेशा पूर्ण संख्या प्राप्त होती है।
- पूर्ण संख्याओं को गुणा करने पर हमेशा पूर्ण संख्या प्राप्त होती है।
- पूर्ण संख्याओं को भाग देने पर हमेशा पूर्ण संख्या नहीं प्राप्त होती है।
- पूर्ण संख्याओं को दशमलव संख्याओं में बदला जा सकता है।
- दशमलव संख्याओं को पूर्ण संख्याओं में नहीं बदला जा सकता है।
पूर्ण संख्याओं का उपयोग:
- गिनती: सेब, किताबें, लोग, आदि।
- मापन: दूरी, समय, वजन, आदि।
- क्रम: पहले, दूसरे, तीसरे, आदि।
उदाहरण:
- 5 सेब, 3 किताबें, 2 लोग।
- 10 किलोमीटर की दूरी, 2 घंटे का समय, 50 किलोग्राम का वजन।
- पहला स्थान, दूसरा स्थान, तीसरा स्थान।
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निष्कर्ष:
पूर्ण संख्या गणित में एक महत्वपूर्ण अवधारणा है। इसका उपयोग गिनती, मापन, क्रम और अन्य कार्यों के लिए किया जाता है। पूर्ण संख्याओं को समझना गणितीय अवधारणाओं को समझने के लिए आवश्यक है।
अतिरिक्त जानकारी:
- प्राकृतिक संख्याएँ: 1, 2, 3, 4, 5, …
- पूर्णांक: सभी प्राकृतिक संख्याएँ, सभी ऋणात्मक प्राकृतिक संख्याएँ और शून्य।
- दशमलव संख्याएँ: पूर्ण संख्याएँ, भिन्न संख्याएँ और दशमलव संख्याएँ।
यह पोस्ट आपको पूर्ण संख्या को समझने में मददगार लगी होगी। यदि आपके कोई प्रश्न हैं, तो टिप्पणी में पूछने में संकोच न करें।